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Sakti: शादी की झांसा देकर जबरन बलात्कार करने के आरोपी को 10 वर्ष की सश्रम कारावास की सजा*

 *शादी की झांसा देकर जबरन बलात्कार करने के  आरोपी को 10  वर्ष  की सश्रम कारावास की सजा* 

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*फास्ट ट्रैक कोर्ट के विशेष न्यायाधीश यशवंत सारथी का निर्णय*



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शक्ति . फास्ट ट्रैक  कोर्ट शक्ति के विशेष न्यायाधीश यशवंत कुमार सारथी ने  युवती  के साथ दुष्कर्म के मामले में  अभियुक्त के विरुद्ध आरोपित अपराध दोष सिद्ध  पाए जाने पर  आरोपी को 10  वर्ष की सश्रम   कारावास की सजा  एवं अर्थदंड से दंडित करने का निर्णय पारित किया है। विशेष लोक अभियोजक राकेश महंत  ने बताया कि  अभियोक्त्री के घर अपने रिश्तेदारों के साथ शादी का रिश्ता लेकर अभियुक्त गया था और अभियोक्त्री के दीदी से शादी की बातचीत कर रहे थे तब से अभियुक्त का अभियोक्त्री से परिचय  हो गया था, शादी पक्की हो गई थी। मार्च-अप्रैल में शादी करने की बात हुई थी। तब से अभियुक्त अभियोक्त्री के घर आना-जाना करता था।  17 अक्टूबर 2019 को प्रातः 10:00 बजे अभियुक्त अभियोक्त्री के   घर आया जहां वह अकेली थी उसकी दीदी एवं भैया काम करने बाहर गए थे । अभियुक्त अभियोक्त्री से बोला कि हम दोनों की शादी पक्की हो चुकी है , बोलकर अभियोक्त्री के साथ जबरदस्ती उसके मना करने के बाद भी बलात्कार किया । अभियुक्त ने अक्टूबर 2019 से जनवरी 2020 के बीच अभियोक्त्री के साथ 5 बार उसके घर में आकर बलात्कार किया । अभियुक्त द्वारा बलात्कार करने से अभियोक्त्री  गर्भवती हो गई ।अभियोक्त्री ने अभियुक्त को शादी के लिए बोला तो  अभियुक्त  ने अभियोक्त्री के साथ शादी करने से इनकार कर दिया तब अभियोक्त्री  ने घटना की रिपोर्ट थाना बाराद्वार में दर्ज कराई थी। अभियुक्त के विरुद्ध थाना बाराद्वार में धारा 376, 450 भारतीय दंड संहिता के तहत अपराध पंजीबद्ध किया गया तथा अभियुक्त को गिरफ्तार कर जेल भेजा गया तथा विवेचना पूर्ण होने पर अभियोग पत्र विशेष न्यायालय शक्ति में पेश किया गया था  ।    विशेष न्यायालय शक्ति  ने उभय पक्षों को पर्याप्त समय अपने पक्ष रखने के लिए  देने के पश्चात तथा अभियोजन एवं अभियुक्त पक्ष के अंतिम तर्क श्रवण करने तथा संपूर्ण विचारण पूर्ण होने  के पश्चात न्यायालय द्वारा निर्णय पारित किया गया। अभियोजन द्वारा अभियुक्त के विरुद्ध आरोपित अपराध संदेह से परे प्रमाणित कर दिए जाने से  विशेष न्यायाधीश यशवंत कुमार सारथी द्वारा अभियुक्त को भारतीय दंड संहिता की धारा 450,  376 की उप धारा दो (ढ )   के आरोप में सिद्ध दोष पाते हुए दोष  सिद्ध घोषित किया गया है । विशेष न्यायाधीश  ने अभियुक्त रवि महिलांगे  पिता मकसूदन महिलांगे उम्र 24 वर्ष   निवासी ग्राम मुक्ता थाना जय जय पुर  जिला जांजगीर चांपा वर्तमान जिला शक्ति को  भारतीय दंड संहिता की धारा 450 के तहत 5 वर्ष का सश्रम कारावास एवं ₹1000 रूपये का अर्थ दंड तथा धारा 376 की उप धारा दो (ढ)   के अपराध के लिये 10  वर्ष का सश्रम कारावास   एवं ₹20,00 रुपये की अर्थदंड  से दंडित किया है।  अभियोजन  की ओर से पैरवी विशेष लोक अभियोजक राकेश महंत ने किया ।


*छत्तीसगढ़ vision tv न्यूज़, जिला - शक्ति से ब्यूरो हेड महेंद्र खांडे के साथ जितेंद्र पटेल की रिपोर्ट*

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